नई दिल्ली।
चंद्रयान-3 की उड़ान का अब सभी को इंतजार है। विशेषतौर पर जब इंडियन स्पेस रिसर्च आर्गेनाईजेशन (ISRO) ने घोषित कर ही दिया है कि चंद्रयान-3 को 14 जुलाई 2023 को लॉन्च किया जाएगा, तो इंतजार की यह घड़ियां बेसब्री को बढ़ा रही हैं। 14 जुलाई 2023 को दोपहर 2.35 बजे चंद्रयान-3 अपनी यात्रा शुरू करेगा। भारत का यह तीसरा Moon Mission है। इससे पहले 2008 में भारत ने पहला चंद्रयान, चंद्रमा की कक्षा में भेजा था। चंद्रयान-1 सफल अभियान था। चंद्रयान-2 को 2019 में उसकी यात्रा पर भेजा गया। चंद्रयान-2 भी काफी हद तक सफल अभियान रहा, लेकिन चंद्रमा पर रोवर उतारने की कोशिश नाकाम रही। चंद्रयान-3 के जरिए एक बार फिर चंद्रमा की सतह पर पहुंचने की कोशिश ISRO और भारत कर रहे हैं। इतने बड़े मिशन पर खर्च भी काफी ज्यादा होता है लेकिन क्या आपको पता है कि इसरो का यह Moon Mission फिल्म RRR के बजट में ही पूरा हो रहा है।
चंद्रयान-3 की लागत
चंद्रयान-3 मिशन की पूरी लागत कितनी है? इसको लेकर कई प्रश्न पूछे जा रहे हैं। चंद्रयान-3 को तैयार करने में करीब 615 करोड़ रुपये लगे हैं। आपको बता दें कि एसएस राजामौली की फिल्म RRR को बनाने में ही 600 करोड़ रुपये खर्च हो गए थे। इस लिहाज से देखें तो इसरो ने बहुत ही सीमित बजट में देश को गौरवांवित करने वाला यह चंद्रयान-3 बनाया है। हालांकि चंद्रयान-3 का खर्च सिर्फ 615 करोड़ ही नहीं है, इस पर करीब 1 हजार करोड़ रुपये खर्च हो सकते हैं, लेकिन इसमें कई दूसरे खर्च भी शामिल होंगे।
कब और कहां से होगा चंद्रयान-3 का लॉन्च
चंद्रयान-3 को 14 जुलाई 2023 को दोपहर 2.35 पर लॉन्च किया जाएगा। इसके लिए आंध्र प्रदेश में श्रीहरिकोटा के सतीश धवन स्पेस सेंटर में तैयारियां जोरों पर हैं। इसे भारत का अब तक का सबसे कठिन मिशन माना जा रहा है। इसरो का कहना है कि चंद्रयान-3 मिशन, चंद्रयान-2 का ही फॉलोअप है। क्योंकि चंद्रयान-2 मिशन अपने अंतिम चरण में विफल हो गया था, इसलिए इस बार इसमें कई बदलाव किए गए हैं।
चंद्रमा पर उतरेगा रोवर, रचेगा इतिहास
चंद्रयान-3 के साथ इसरो और भारत इतिहास के मुहाने पर खड़े हैं। 14 जुलाई को अपने सफर का आगाज करने वाला चंद्रयान-3 जल्द ही चंद्रमा की सतह को चूमेगा। अगर इस बार लैंडिंग सफल रहती है तो ISRO इतिहास रच देगा। इस मिशन को सफल बनाने के लिए इसरो के वैज्ञानिकों की टीम कड़ी मेहनत कर रही है।
एलीट क्लब में होगा भारत
चंद्रयान-2 अपने आखिरी चरण में विफल रहा, लेकिन चंद्रयान-3 जैसे ही चंद्रमा की सतह को चूमेगा, वैसे ही भारत एक एलीट क्बल में शामिल हो जाएगा। यह एलीट क्लब चंद्रमा पर सफल लैंडिंग करवाने वाले देशों का है। इससे पहले अमेरिका अपने अंतरिक्ष यात्रियों को चंद्रमा पर उतार चुका है। रूस और चीन भी चंद्रमा पर सफलतापूर्वक अपने रोवर उतार चुके हैं। चंद्रयान-3 की सफलता के साथ भारत इन देशों की श्रेणी में शामिल हो जाएगा।